पत्तों की तरह जमीन पर गिरेंगे दुश्मन के ड्रोन, जानें क्या है भारत के 'भार्गवास्त्र' की ताकत

भार्गवास्त्र:- भारत ने हाल ही में 'भार्गवास्त्र' नामक एक अत्याधुनिक काउंटर-ड्रोन सिस्टम का सफल परीक्षण किया है, जो ड्रोन हमलों के बढ़ते खतरे से निपटने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। यह प्रणाली विशेष रूप से ड्रोन स्वार्म (एक साथ कई ड्रोन) को निष्क्रिय करने के लिए डिज़ाइन की गई है और इसे भारतीय रक्षा उद्योग की आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है। 

भार्गवास्त्र क्या है?

1. भार्गवास्त्र: एक परिचय

'भार्गवास्त्र' एक स्वदेशी रूप से विकसित काउंटर-ड्रोन सिस्टम है, जिसे सोलर डिफेंस एंड एयरोस्पेस लिमिटेड (SDAL) द्वारा विकसित किया गया है। यह प्रणाली हार्ड-किल मोड में काम करती है, जिसमें माइक्रो मिसाइलों का उपयोग करके ड्रोन को भौतिक रूप से नष्ट किया जाता है। इसका उद्देश्य ड्रोन स्वार्म के खतरे से निपटना है, जो आधुनिक युद्ध में एक गंभीर चुनौती बन चुका है। 

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2. तकनीकी विशेषताएं

2.1 माइक्रो मिसाइल प्रणाली

  • प्रत्येक वाहन में 64 माइक्रो मिसाइलें तैनात की जा सकती हैं, जो एक साथ कई ड्रोन को निशाना बना सकती हैं।
  • माइक्रो मिसाइलें "लॉक-ऑन आफ्टर लॉन्च" और होमिंग क्षमताओं से लैस हैं, जिससे वे तेजी से और सटीकता से लक्ष्य को भेद सकती हैं।
  • मिसाइलों का वजन लगभग 2.5 किलोग्राम होता है और वे 2.5 किलोमीटर की दूरी तक लक्ष्य को भेद सकती हैं। 

2.2 रडार और सेंसर प्रणाली

  • सिस्टम में 360 डिग्री कवरेज प्रदान करने वाले चार रडार होते हैं, जो 0.01 वर्ग मीटर के रडार क्रॉस सेक्शन वाले ड्रोन को 5 किलोमीटर से अधिक दूरी पर पहचान सकते हैं।
  • इलेक्ट्रो-ऑप्टिकल/इन्फ्रारेड (EO/IR) सेंसर कम रोशनी और खराब मौसम में भी लक्ष्य की पहचान में सक्षम हैं। 

2.3 कमान और नियंत्रण प्रणाली (C4I)

  • सिस्टम में कमांड एंड कंट्रोल सेंटर, रडार, EO/IR सेंसर, AI, मिसाइल लॉन्चर, काउंटर मेजर्स और डेटा लिंक शामिल हैं।
  • यह प्रणाली स्वचालित रूप से लक्ष्य की पहचान, ट्रैकिंग और निष्क्रिय करने की प्रक्रिया को अंजाम देती है। 

3. ऑपरेशनल क्षमताएं

  • सिस्टम 16 सेकंड से भी कम समय में ड्रोन की पहचान कर उसे निष्क्रिय कर सकता है।
  • यह एक साथ 64 लक्ष्यों को ट्रैक और निष्क्रिय करने में सक्षम है, जो इसे ड्रोन स्वार्म के खिलाफ अत्यधिक प्रभावी बनाता है।
  • सिस्टम को 4x4 वाहन पर माउंट किया गया है, जिससे इसे विभिन्न इलाकों में तेजी से तैनात किया जा सकता है।

4. सफल परीक्षण और भविष्य की योजनाएं

भार्गवास्त्र का सफल परीक्षण ओडिशा के गोपालपुर में स्थित सीवर्ड फायरिंग रेंज में किया गया। इस परीक्षण में सिस्टम ने 2.5 किलोमीटर की दूरी पर और 400 मीटर की ऊंचाई पर स्थित लक्ष्यों को सफलतापूर्वक निष्क्रिय किया। यह परीक्षण भारतीय सेना के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में किया गया, जिससे इसकी विश्वसनीयता और प्रभावशीलता की पुष्टि हुई। 

5. भारतीय रक्षा में भार्गवास्त्र का महत्व

  • ड्रोन हमलों के बढ़ते खतरे से निपटने के लिए भार्गवास्त्र एक महत्वपूर्ण उपकरण है।
  • यह प्रणाली भारतीय रक्षा बलों को स्वदेशी और किफायती समाधान प्रदान करती है, जिससे विदेशी रक्षा उपकरणों पर निर्भरता कम होती है।
  • भार्गवास्त्र का विकास 'आत्मनिर्भर भारत' पहल के तहत किया गया है, जो देश की रक्षा क्षमताओं को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। 

भार्गवास्त्र भारतीय रक्षा उद्योग की एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, जो ड्रोन स्वार्म के खतरे से निपटने के लिए एक प्रभावी और किफायती समाधान प्रदान करता है। इसकी स्वदेशी विकास प्रक्रिया, तकनीकी क्षमताएं और सफल परीक्षण इसे भारतीय सेना के लिए एक मूल्यवान संपत्ति बनाते हैं। भविष्य में, इसके और भी उन्नत संस्करणों के विकास की संभावना है, जो भारत की रक्षा क्षमताओं को और अधिक मजबूत करेंगे। 


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